कविता :- 20(46) , शनिवार , 03/07/2021 , अंक - 54

रोशन कुमार झा


कविता :- 20(46)
नमन 🙏 :-  साहित्य एक नज़र 🌅

बारिश

वारिश की महीना आया है ,
जहाँ देखों पानी ही पाया है ।

घर से निकलने का
मन नहीं करता है ,
वारिश की बूंद भी अभी
तो भारी पड़ता है ।‌।
कोरोना काल है कहाँ पहले
जैसा गाड़ी चलता है ,
न हुए बारिश न होंगे उपज
इसके अलावा कौन पेट भरता है ।।

✍️ रोशन कुमार झा
सुरेन्द्रनाथ इवनिंग कॉलेज,कोलकाता
ग्राम :- झोंझी , मधुबनी , बिहार,
मो :- 6290640716, कविता :- 20(46)
रामकृष्ण महाविद्यालय, मधुबनी , बिहार
03/07/2021 , शनिवार
✍️ रोशन कुमार झा , Roshan Kumar Jha , রোশন কুমার ঝা
साहित्य एक नज़र  🌅 , अंक - 54
Sahitya Ek Nazar
03 July 2021 ,  Saturday
Kolkata , India
সাহিত্য এক নজর
विश्‍व साहित्य संस्थान / साहित्य एक नज़र 🌅
মিথি LITERATURE , मिथि लिट्रेचर

नमन 🙏 :- अभिव्यक्ति मंच

विषय :- बारिश को आवाज़ देता गीत

सून लो हम किसानों भाईयों की आवाज़ ,
तुम ही बचाते हो हमारे
घर परिवार की लोक लाज  ।
तुम से ही होते अन्न तब है ये समाज ,
हे प्रभु वारिश करवाये आज ।।

वैसे ही कोरोना महामारी से
सब के सब तंग है ,
धन्य हो प्रभु अभी तक
आप मेरे संग है ।।
बिना वारिश के प्रकृति
का खिला सा न रंग है ।
अभी जीतना बहुत
बड़ा जंग है ।

नई रूप लेकर आओ नई अंदाज़ ,
अब देरी मत करो आ जाओ
आज के ही आज ।
हम तो हम खेत भी तुम्हें देखते
सुबह और साँझ ,
अब तो सून लो हम मानवों की आवाज़ ।‌।

✍️ रोशन कुमार झा

यह रचना हमारी स्वरचित व अप्रकाशित है ।

मिथिलाक्षर साक्षरता अभियान भाग - 4


07:04 मोबाइल खोलें

आनंद आया परौल से अंशु का नाना आया खुनिया मर गई उसी का काम क्रिया करवाने ..
माँ को 9038 पर फोन किए चाचा उठाएं हिन्दी में बात किए हम बोले राहुल है बोला नहीं है फिर हम बोले कका गोर लागैछी । तहन पहचाने ।

फेसबुक - 1
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फेसबुक - 2
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साहित्य संगम संस्थान

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#साहित्यसंगमसंस्थान
#विविधइकाइयां-समीक्षा

इस संसार में हर व्यक्ति ही नहीं, हर जीव अपनी समझ से अच्छा ही कार्य करता है। सबका अपना-अपना तर्क होता है। हां कार्य वही सर्वग्राह्य होता है जो सर्वाधिक लोगों का हित साधता है। सर्वाधिक लोगों का हित साधने वाले कार्य को सर्वाधिक लोग करें/कराएं तभी वह सब दृष्टियों से सर्वथा उचित हो सकता है। यदि किसी वस्तु को एक व्यक्ति सामने से देखता है तो उसके सापेक्ष बैठा व्यक्ति उसे उसके पीछे से देख सकता है, दाईं ओर बैठा व्यक्ति दाईं ओर की वस्तुस्थिति को समझ सकता है और बाईं ओर वाला बाईं ओर की। इसी प्रकार ऊपर वाला ऊपर के कोण का सही द्रष्टा हो सकता है और नीचे वाला नीचे के कोण का। कोई भी एक व्यक्ति यदि कहे कि मंदिर के सामने की तरफ जो सुंदर दृश्य है वैसा ही पीछे और चारो ओर है तो गलत होगा। इसीलिए यदि इकाइयों की समीक्षा और सहयोग सभी लोग करें तो हिंदी का बहुमुखी विकास अवश्य संभावी होगा। जो बातें हमारी दृष्टि से ओझल हो रही होंगी या छूट रही होंगी वे अन्य लोग तो बता और सुझा सकेंगे।

हिंद के लोग हिंदी को अपनी माता समान मानते हैं और माता को संसार का हर प्राणी बहुत प्यार करता है। इसीलिए साहित्य संगम संस्थान में सब निस्वार्थ भाव से हिंदी सेवा करने के लिए उतारू हैं। एक ही मंच पर चार वर्ष तक कार्य करने के बाद जब धीरे-धीरे सबका विश्वास इस संस्थान पर जमने लगा तो मुख्य मंच पर अच्छा खासा जमावड़ा होने लगा। अनेक पत्रिकाओं की पोस्ट अनेक प्रदेशों के साहित्य उन्नायकों की पोस्ट इतनी आने लगीं कि अपनी ही पोस्ट खो जाती थी। यह स्थिति देखकर विचार बना कि क्यों न प्रदेश इकाइयां गठित कर दी जाएं। बहुस्याम: का यह विचार मंगलकारी था। विविध शालाएं तो पहले से ही थीं। जिनमें सीखने- - सिखाने का कार्य वृहद् स्तर पर चल रहा था और है। इसी पुनीत प्रेरणा ने उन्नीस प्रदेशों में इकाइयां गठित की गईं। आ० कुमार रोहित रोज़ और आ० मिथलेश सिंह मिलिंद और असंख्य लोग इस पुण्य कार्य के कर्ता और सहयोगी हुए। इसे करते जाना है सभी प्रदेशों में इकाई स्थापित करने के बाद जिला स्तर पर इकाइयां गठित करके फिर गांव-गांव तक हिंदी- साहित्य और संस्थान को ले जाना है।

उन्नीस प्रदेशों की इकाइयों में यद्यपि अनेक पदाधिकारी सहयोगरत हैं जो अपनी सूझबूझ से निस्वार्थ भाव से सबको प्रोत्साहित कर हिंदी से जोड़ते जा रहे हैं। प्रत्येक इकाई में अध्यक्ष, सचिव, पंचपरमेश्वर और अलंकण प्रमुख हैं और किसी-किसी में तो संरक्षक, कार्यकारी अध्यक्ष, उप सचिव, सह सचिव, मीडिया प्रभारी और बोली विकास पदाधिकारी और न जाने कितने पद और दायित्व लेकर सहयोगी लोग सहयोग कर रहे हैं। एक इकाई में चार ही पदाधिकारी मानें तो छिहत्तर लोग होते हैं जो कम नहीं हैं किसी विवेचना के लिए।

तथापि इनके कार्यों की समीक्षा यदि वे लोग जो केवल लिखने का समय निकाल पाते हैं(यद्यपि संस्थान का सदस्य वही है वस्तुत: जो कोई न कोई, कम से कम एक भी दायित्व लेकर सहयोग कर रहा है) करें तो उन्हें क्या असुविधाएं होती है यह पता चल सके, जिससे उनका यदि संभव हो तो निराकरण किया जा सके। यदि संभव वाली बात इसलिए क्योंकि सलाह एक बड़ा भयंकर मुद्दा और विषय है संसार में। मुफ्त की सलाह बहुत से लोग यूं ही देते फिरते रहते हैं। जो कई बार ऐसी होती हैं कि उन्हें करना शायद ही संभव हो। अतः वही सलाह दें जो आप अपने नेतृत्व में कर-करा सकें। कोई और नहीं करने आएगा। कोई और नहीं हिंदी को राष्ट्रभाषा घोषित कराएगा। बहुत से लोग प्रदेश इकाइयों में दैनिक आयोजनों में पूरे देश के लोगों को सम्मानित करने-कराने की बहस किया करते हैं। जबकि इसके लिए मुख्य मंच तो है न? पहले अपनी प्रदेश इकाई में लिखें फिर मुख्य मंच में लिखे और उसके बाद दोहाशाला, छंदशाला, ग़ज़लशाला, अलंकरणशाला, व्याकरणशाला और न जाने कितने मंच हैं जहां न केवल सीखने-सिखाने का कार्य होता है अपितु प्रमाणपत्र भी मिलते हैं और कितने प्रमाणपत्र चाहिए कि सभी इकाइयों में अव्यवस्था फैलाना चाहते हैं। क्या एक प्रदेश में कम लोग होते हैं, क्या वे सब जुड़ चुके हैं? क्या उन्हें जोड़ने और उन्हें सेवा करने का अवसर नहीं मिलना चाहिए? क्या वही दो चार सौ लोग सभी इकाइयों में सम्मानित होते रहने चाहिए। फिर दोषारोपण करने का मौका इन्हीं लोगों को मिल जाएगा कि कुछ लोग ही सभी इकाइयों में सम्मानित होते रहते हैं।

तो आइए कलम उठाइए और वह रेखांकित कीजिए जो आप कर-करा सकते हैं और नहीं हो पा रहा है। जिससे प्रदेश इकाइयां जिलों और गांव-गांव तक पहुंच सकें और साहित्य व संस्थान का बहुमुखी विकास हो सके।

राज वीर सिंह

ये रहीं उन्नीस प्रदेशों की इकाइयां और उनके लिंक, सुबह ८:१० बजे तक इतनी इकाइयों में विषय प्रवर्तन हो चुका है जिनमें टिक लगा है। ये टिक सभी सम्मानीय सचिवों ने लगाए हैं।
🙏🙏🙏🙏

साहित्य संगम संस्थान फेसबुक पर संचालित इकाइयां और आज किया गया विषय प्रवर्तन
🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏

दैनिक विषय प्रवर्तन सूची 03/07/2021
👍👍👍👍👍👍

1- साहित्य संगम संस्थान पश्चिम बंगाल इकाई  ✅

https://www.facebook.com/groups/1719257041584526/

2 साहित्य संगम संस्थान जम्मू कश्मीर इकाई

https://www.facebook.com/groups/538091520508075/?ref=share

3 साहित्य संगम संस्थान राजस्थान इकाई✅

https://www.facebook.com/groups/2609033289420122/?ref=share

4 तेलंगाना इकाई साहित्य संगम संस्थान✅

https://www.facebook.com/groups/733111980924340/?ref=share

5 साहित्य संगम संस्थान उड़ीसा इकाई

https://www.facebook.com/groups/418889736095954/?ref=share

6 साहित्य संगम संस्थान महाराष्ट्र इकाई

https://www.facebook.com/groups/319856025911121/?ref=share

7-  साहित्य संगम संस्थान दिल्ली इकाई

https://www.facebook.com/groups/789691235131619/?ref=share

8 -  साहित्य संगम संस्थान उत्तराखंड इकाई

https://www.facebook.com/groups/219428686275020/?ref=share

9- साहित्य संगम संस्थान हरियाणा इकाई

https://www.facebook.com/groups/690267965033102/?ref=share

10-  साहित्य संगम संस्थान पंजाब इकाई✅

https://www.facebook.com/groups/244001030419140/?ref=share

11 साहित्य संगम संस्थान बिहार इकाई

https://www.facebook.com/groups/351043012608605/?ref=share

12 साहित्य संगम संस्थान उत्तर प्रदेश इकाई।   ✅

https://www.facebook.com/groups/203753100596285/?ref=share

13- साहित्य संगम संस्थान  छत्तीसगढ़ इकाई✅

https://www.facebook.com/groups/657033671596487/?ref=share

14. साहित्य संगम संस्थान तमिलनाडु इकाई (दो दिवसीय)✅

https://www.facebook.com/groups/3538796993012375/?ref=share

15 साहित्य संगम संस्थान गुजरात इकाई ✅

https://www.facebook.com/groups/820559168735062/?ref=share

16 साहित्य संगम संस्थान झारखण्ड इकाई

https://www.facebook.com/groups/312357299864682/?ref=share

17 साहित्य संगम संस्थान मध्यप्रदेश इकाई

https://www.facebook.com/groups/2511593195820656/?ref=share

18 साहित्य संगम संस्थान असम इकाई ✅

https://www.facebook.com/groups/3349261775136126/?ref=share

19 साहित्य‌ संगम संस्थान हिमाचल इकाई

https://www.facebook.com/groups/197344962089192/?ref=share

20 साहित्य संगम संस्थान मुख्य मंच

https://www.facebook.com/groups/sahityasangamsansthan/?ref=share

21- साहित्य संगम संस्थान छंदशाला (दो कार्यक्रम चल रहे हैं)✅
https://www.facebook.com/groups/778575075627711/?ref=share

22- साहित्य संगम संस्थान दोहाशाला✅

https://www.facebook.com/groups/3207654099246929/?ref=share


जय माँ सरस्वती
साहित्य एक नज़र 🌅
कोलकाता से प्रकाशित होने वाली दैनिक पत्रिका का इकाई -
विश्‍व साहित्य संस्थान वाणी
( साप्ताहिक पत्रिका ) गुरुवार
अंक - 3
प्रकाशित होने की दिनांक :- 8 जुलाई 2021, गुरुवार
विषय :- बरसात 🌧️🌦️ ☔
विषय प्रदाता :- आ. आशीष कुमार झा जी
रचना भेजने की अंतिम तिथि - 06/07/2021
एक रचनाकार एक ही रचना भेजें ।
16 - 20 पंक्ति से अधिक रचनाएं व बिना मतलब के स्पेस ( अंतराल ) वाली रचनाओं को स्वीकृति नहीं किया जायेगा ।
शब्द सीमा - 300 - 350
किसी भी प्रकार की समस्या होने पर संपर्क करें -
6290640716

आपका अपना
रोशन कुमार झा
संस्थापक / संपादक
मो :- 6290640716
साहित्य एक नज़र  🌅 ,
Sahitya Ek Nazar, Kolkata , India
সাহিত্য এক নজর
মিথি LITERATURE , मिथि लिट्रेचर - मधुबनी इकाई / विश्‍व साहित्य संस्थान वाणी

आ. डॉ . पल्लवी कुमारी "पाम "  जी
          संपादिका
विश्‍व साहित्य संस्थान वाणी
( साप्ताहिक पत्रिका ) गुरुवार
साहित्य एक नज़र 🌅
कोलकाता से प्रकाशित होने
वाली दैनिक पत्रिका का इकाई

लिंक -
विश्‍व साहित्य संस्थान वाणी , अंक - 3 के लिए रचना यहां भेजिए -
https://m.facebook.com/groups/1082581332150453/permalink/1114746008933985/?sfnsn=wiwspmo

विश्‍व साहित्य संस्थान वाणी , अंक - 2

https://www.facebook.com/groups/1082581332150453/permalink/1113416175733635/?sfnsn=wiwspmo

মিথি LITERATURE , मिथि लिट्रेचर - मधुबनी इकाई

https://www.facebook.com/groups/310633540739702/permalink/320660943070295/?sfnsn=wiwspmo

साहित्य एक नज़र 🌅 अंक - 54 - 58
https://www.facebook.com/groups/287638899665560/permalink/320528306376619/?sfnsn=wiwspmo



साहित्य संगम संस्थान के स्वर्णिम पाँच वर्ष पूरे होने पर पश्चिम बंगाल इकाई की ओर से अलंकरण कर्ता आ. स्वाति जैसलमेरिया जी

साहित्य संगम संस्थान पश्चिम बंगाल इकाई


पश्चिम बंगाल इकाई

🙏🏻जय माँ शारदे 🙏🏻
🌺🌺🌺🌺🌺🌺🌺🌺
🌺अध्यक्ष महोदय एवं सभी पदाधिकारी गण और सभी साहित्यकारों को नमन करती हूं। 🙏
साहित्य संगम संस्थान के स्वर्णिम पाँच वर्ष पूरे होने पर आप सभी को हार्दिक बधाई एवं शुभकामनाएँ देती हूँ।
🌺🌺🌺🌺🌺🌺🌺🌺🌺🌺🌺
साहित्य संगम संस्थान पश्चिम बंगाल इकाई की ओर से अलंकरण प्रस्तुति

अलंकरण प्रभारी
स्वाति जैसलमेरिया

https://www.facebook.com/groups/1719257041584526/permalink/1961102960733265/?sfnsn=wiwspmo

https://youtu.be/yctgyaBHGyU

साहित्य संगम संस्थान पंचम वार्षिकोत्सव की पूर्व संध्या पर कुछ आवश्यक बातें राष्ट्रीय अध्यक्ष आ. राजवीर सिंह मंत्र जी 🙏
🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏





परिकल्पना दिवस को सजाने और संवारने के लिए बधाई व आभार व्यक्त करते हुए कार्यकारी अध्यक्ष आ. कुमार रोहित रोज़ जी
https://www.facebook.com/groups/365510634417195/permalink/600450334256556/?sfnsn=wiwspmo

https://youtu.be/tez5bpJBj-Y

राष्ट्रीय अध्यक्ष आ . राजवीर सिंह मंत्र जी की प्रस्तुति - साहित्य संगम संस्थान

https://www.facebook.com/groups/365510634417195/permalink/600404647594458/?sfnsn=wiwspmo

https://youtu.be/sIXoxfZQf3w

ऑस्ट्रेलिया से छगनलाल मुथा जी की प्रस्तुति - स्वर्णिम पाँच वर्ष पूरे होने पर
🙏

https://youtu.be/IdscG_QXuXs

https://www.facebook.com/groups/365510634417195/permalink/600389494262640/?sfnsn=wiwspmo

https://youtu.be/Gou1g0F8RO0

निवेदक,

कविराज तरुण
महासचिव
साहित्य संगम संस्थान
https://youtu.be/eKXALjmExDc
साहित्य संगम संस्थान नई दिल्ली
रा. पंजी . संख्या एस 1801/2017 ( नई दिल्ली )
साहित्य संगम संस्थान नई दिल्ली के गौरवशाली पांच वर्ष (5-07-2021)

उत्तमचंद जैन
हैदराबाद
उपाध्यक्ष तेलंगाना इकाई
९३४६२५५६९४

https://youtu.be/8b3vIvmfc5c

https://www.facebook.com/100012727929862/posts/1257255988041987/?sfnsn=wiwspmo




https://youtu.be/20RKbjrSORE

https://www.facebook.com/groups/sahityasangamsansthan/permalink/1411337279237337/?sfnsn=wiwspmo

साहित्य संगम संस्थान पश्चिम बंगाल इकाई
https://www.facebook.com/groups/1719257041584526/permalink/1955216687988559/?sfnsn=wiwspmo

https://www.facebook.com/100068603509879/videos/120933290203454/

https://youtu.be/74ZKEFsCThI

साहित्य संगम संस्थान

https://www.facebook.com/groups/sahityasangamsansthan/permalink/1414797745557957/?sfnsn=wiwspmo

#साहित्यसंगमसंस्थान
#विविधइकाइयां-समीक्षा

कोलफील्ड मिरर आसनसोल में प्रकाशित
10/05/2021 ,
https://blogger.googleusercontent.com/img/b/R29vZ2xl/AVvXsEiYw-O_wG7wu-K-nRxZJNqLTx2yup7Tnf7vncuuqA7xy3R4Tg2Ve3od6mVErPwDPwvmG41WI4y65Y4tXqeDGRIUftpcqMxp2xtiow4PWlcNnBzVvSfoW9W6lZ4KxXbYZP2YnW2wXZEofEQ/s2048/CFM+HINDI++++10.06.+2021+5.jpg

https://online.fliphtml5.com/axiwx/iqjc/

https://youtu.be/jmF43PF0wwU



https://coalfieldmirror.blogspot.com/2021/06/10-2021-coalfieldmirrorgmailcom.html?m=1


पश्चिम बंगाल

https://www.facebook.com/groups/1719257041584526/permalink/1939031646273730/?sfnsn=wiwspmo

मुख्य मंच :-
https://m.facebook.com/groups/sahityasangamsansthan/permalink/1399215700449495/?sfnsn=wiwspmo

पश्चिम बंगाल इकाई सम्मान पत्र
https://www.facebook.com/groups/1719257041584526/permalink/1959393240904237/?sfnsn=wiwspmo





पश्चिम बंगाल इकाई सम्मान पत्र
https://www.facebook.com/groups/1719257041584526/permalink/1939470836229811/?sfnsn=wiwspmo

अंक - 49 से 53
https://m.facebook.com/groups/287638899665560/permalink/317105156718934/?sfnsn=wiwspmo


https://youtu.be/-gxVYTWJQqU

http://sahityasangamwb.blogspot.com/2021/06/blog-post.html

https://youtu.be/zQNqhNv41kI

http://vishnews2.blogspot.com/2021/07/54-03072021.html

https://youtu.be/QclxUs5c7P0
राष्ट्रीय मीडिया प्रभारी आ. राजेश कुमार पुरोहित जी
- साहित्य संगम संस्थान नई दिल्ली

अंक - 54
https://online.fliphtml5.com/axiwx/jkqf/

https://youtu.be/nxQxDu0-514
दिनांक - 03/07/2021
दिवस -  शनिवार
#साहित्यसंगमसंस्थान
यूट्यूब संचालक

रोशन कुमार झा
साहित्य संगम संस्थान नई दिल्ली
साहित्य संगम संस्थान पश्चिम बंगाल इकाई



[03/07, 01:15] डॉ पल्लवी जी: भाई  क्या इस तस्वीर के साथ कविता प्रकाशित हो सकती है?
[03/07, 01:17] डॉ पल्लवी जी: अंक 54 /58 के निमित्त।
[03/07, 08:22] Roshan Kumar Jha, रोशन: जी 🙏 हो सके तो आप वहीं भेजिएगा 🙏 वैसे हम कर देंगे
[03/07, 21:49] डॉ पल्लवी जी: आपने नये बिषय की सूचना पटल पर नहीं दी।
[03/07, 22:14] Roshan Kumar Jha, रोशन: दे दिए

[03/07, 19:23] आ प्रभात जी: Wow nice brother
[03/07, 19:45] Roshan Kumar Jha, रोशन: धन्यवाद भाई
[03/07, 22:09] आ प्रभात जी: Welcome brother
[03/07, 22:18] Roshan Kumar Jha, रोशन: 🙏🙏🙏

नमस्ते श्रीमन्,                          अनुरोध के सकारात्मक प्रत्युत्तर हेतु आत्मिक आभार आपका.          भवदीय,                                   अजय कुमार झा

[03/07, 12:13] Roshan Kumar Jha, रोशन: जी 🙏
[03/07, 12:45] Roshan Kumar Jha, रोशन: https://youtu.be/QRbKpOsN70g

[03/07, 14:04] Roshan Kumar Jha, रोशन: शानदार
[03/07, 18:27] Roshan Kumar Jha, रोशन: https://online.fliphtml5.com/axiwx/jkqf/
[03/07, 18:28] Roshan Kumar Jha, रोशन: ये दीदी अपनी उपलब्धि है ।
[03/07, 18:42] ज्योति दीदी जी: नई उमंग में हम भी हैं

लेकिन देखो मेरा फोटो नहीं लगाया
[03/07, 18:47] Roshan Kumar Jha, रोशन: कोई बात नहीं दीदी जी 🙏
[03/07, 19:36] ज्योति दीदी जी: पुस्तक बन गया

तुम्हारा 500 का पुस्तक मिल जाएगा 😂
[03/07, 19:44] Roshan Kumar Jha, रोशन: अंदर ही अंदर कहां हुआ आगरा में कार्यक्रम
[03/07, 19:44] Roshan Kumar Jha, रोशन: 524
[03/07, 19:44] Roshan Kumar Jha, रोशन: कोई बात नहीं दीदी जी 🙏
[03/07, 19:45] Roshan Kumar Jha, रोशन: भाई पर दीदी भरोसा रखिए एक दिन साहित्य संगम संस्थान को झुका देगा ।
[03/07, 20:04] Roshan Kumar Jha, रोशन: https://www.facebook.com/groups/sahityasangamsansthan/permalink/1414797745557957/?sfnsn=wiwspmo
[03/07, 20:56] ज्योति दीदी जी: 😁👍👌🙌🙌🙌
[03/07, 21:02] Roshan Kumar Jha, रोशन: न्यूज़ भेजा कोई और , सब मिला हुआ है
[03/07, 21:03] ज्योति दीदी जी: सही समझे हो
[03/07, 21:04] ज्योति दीदी जी: बोलो हम लोग फ्री में न्यूज़ नहीं छपते हैं एक न्यूज़ का 1 दिन का ₹100 लेते हैं
[03/07, 21:04] Roshan Kumar Jha, रोशन: अब समझ में आ गया साहित्य संगम संस्थान को अपना मूल्य
[03/07, 21:04] Roshan Kumar Jha, रोशन: जी 🙏 दीदी जी
[03/07, 21:06] ज्योति दीदी जी: ₹3000 महीना एडवांस देकर के

रोज का एक न्यूज़ अपना फिक्स कर लीजिए

ऐसा बोल दो 😁😁
[03/07, 21:12] Roshan Kumar Jha, रोशन: हां दीदी जी 🙏💐

[03/07, 20:48] आ. राजेश पुरोहित जी: संस्थान की ख़बद का शानदार कवरेज
[03/07, 21:01] Roshan Kumar Jha, रोशन: जी 🙏 स्वागतम् 🙏💐
[03/07, 21:02] आ. राजेश पुरोहित जी: *भवानीमंडी की बाल कवयित्री शुभांगी शर्मा ने फेसबुक मंच पर किया ऑनलाइन काव्यपाठ*

भवानीमंडी:- अखिल भारतीय साहित्य परिषद भवानीमंडी की सबसे कम उम्र की बाल कवयित्री शुभांगी शर्मा ने दिल्ली की साहित्यिक संस्था ,साहित्य संगम संस्थान के साक्षात्कार संगम फेसबुक पेज पर ऑनलाइन काव्य पाठ के दौरान शुक्रवार शाम 4 बजे से कविताएं सुनाई जिसे देश भर के कई रचनाकारों ने सराहा करते हुए प्रशंसा की।
   शुभांगी शर्मा ने बताया कि साक्षात्कार संगम फेसबूक पेज पर मेरा साक्षात्कार देश की सुप्रसिद्ध कवयित्री व संगम सुवास नारी मंच की प्रचार सचिव उमा मिश्रा प्रीति जी ने साक्षात्कार लेते हुए मेरे साहित्य जगत में  प्रवेश से लेकर अब तक कि उपलब्धियों के बारे में प्रश्न पूछे।
मैंने साक्षात्कार के दौरान ही  मेरी कविताएं दोहे जो देशभक्ति पर्यवरण ,शिक्षा व स्वच्छता सम्बधी विषयों पर आधारित सुनाए।
   मुझे कई रचनाकारों ने बधाई देते हुए आशीर्वाद दिया है। ये मेरा फेसबुक पर ऑनलाइन काव्य पाठ प्रथम बार हुआ। मैं साहित्य संगम संस्थान से जुड़कर बहुत कुछ सीखने को मिल रहा है। मैं संस्थान के अध्यक्ष महोदय उमा मिश्रा जी को बहुत बहुत धन्यवाद देती हूँ।
  मुझे कविताएं लिखने की प्रेरणा मेरे पिताजी डॉ. राजेश पुरोहित जी से मिली। कोरोना काल मे  अभी मैं कविताएं लिखने में प्रयासरत हूँ।
[03/07, 21:03] आ. राजेश पुरोहित जी: आगामी अंक में ये न्यूज़ प्रकाशित कीजियेगा आदरणीय🙏
[03/07, 21:03] Roshan Kumar Jha, रोशन: जी 🙏

[03/07, 19:10] +91 7527: Link pls
[03/07, 19:12] Roshan Kumar Jha, रोशन: https://www.facebook.com/groups/287638899665560/permalink/320528306376619/?sfnsn=wiwspmo

[03/07, 15:41] रोहित रोज़ जी: वार्षिकोत्सव के प्रथम दिवस पर संस्थान की विशिष्ट पुस्तक "नई उमंग" का हुआ शानदार विमोचन

साहित्य संगम संस्थान नई दिल्ली की स्थापना दिवस के उपलक्ष्य में आयोजित दो जुलाई से चार दिवसीय वार्षिकोत्सव का शुभारंभ साहित्य संगम संस्थान के राष्ट्रीय उद्घोषक आदरणीय विनोद वर्मा दुर्गेश जी अध्यक्ष हरियाणा इकाई साहित्य संगम संस्थान के अथक परिश्रम द्वारा बहुत ही शानदार तरीके से संपन्न हुआ। इस अवसर पर देश की कई बड़ी हस्तियों ने गणमान्य अतिथि व निर्णायक की भूमिका निभाई , जिसके अंतर्गत मुख्य अतिथि के रूप में पूर्व सचिव विधान परिषद् उत्तर प्रदेश आ० अशोक चौधरी जी पूर्व जनपद न्यायाधीश महोदय जी, विशिष्ट अतिथि के रूप में आ० प्रशांत करण जी पूर्व आईपीएस अधिकारी महोदय की उपस्थिति ऐतिहासिक रही। उद्धाटन समारोह के इस प्रथम दिवस पर साहित्य संगम संस्थान नई दिल्ली के कुछ विशेष सम्माननीय संगम सारथियों के काव्य संग्रह "नई उमंग" पुस्तक का विमोचन मंचमणि डॉ श्रीनिवास शुक्ल सरस जी प्रतिष्ठित साहित्यकार सीधी के करकमलों होना बेहद ही खास रहा। आपको बताते हुए यह खुशी हो रही है कि साहित्य संगम संस्थान नई दिल्ली अपने किसी भी साहित्य साधक की साधना को खाली हाथ नहीं छोड़ती , जिसका उदाहरण यह पुस्तक "नई उमंग" साहित्य संगम संस्थान नई दिल्ली के अग्रणी साहित्य साधकों के काव्य संग्रह के रूप में आज साहित्य जगत के पुस्तकालय में शामिल हुई। यह पुस्तक अपने आपमें एक उत्कृष्ट पुस्तक है, जिसमें साहित्य संगम संस्थान नई दिल्ली के सक्रिय कार्यकर्ताओं की सक्रियता का चित्र साफ झलकता है। उम्मीद है यह पुस्तक साहित्यिक गतिविधियों में अपना पूर्ण योगदान देगी। पुस्तक विमोचन के पर "नई उमंग" पुस्तक जो केवल पुस्तक नहीं बल्कि साहित्य संगम संस्थान नई दिल्ली की एक सशक्त टीम है , को आस्ट्रेलिया से आ० छगनलाल मुथा जी, मलेशिया से आ० अर्चना श्रीवास्तव जी, दुबई से इंजीनियरिंग विनय गौतम विनम्र जी व अमेरिका से दोहाशाला अधीक्षिका आ० अनिता सुधीर आख्या जी आदि अति विशिष्ट साहित्यिक हस्तियों का आशीर्वचन प्राप्त हुआ।
[03/07, 15:43] Roshan Kumar Jha, रोशन: जी 🙏
[03/07, 18:26] Roshan Kumar Jha, रोशन: https://online.fliphtml5.com/axiwx/jkqf/
[03/07, 18:28] रोहित रोज़ जी: 👍👍
[03/07, 18:37] Roshan Kumar Jha, रोशन: 🙏🙏🙏🙏
[03/07, 18:42] रोहित रोज़ जी: 👍👍
[04/07, 06:46] Roshan Kumar Jha, रोशन: 🙏🙏🙏🙏🙏

[03/07, 14:45] +91 91100 47827: नमस्ते भाई..
[03/07, 14:45] +91 91100 47827: मैं दीप्ति प्रिया
[03/07, 14:46] Roshan Kumar Jha, रोशन: नमस्ते 🙏 दीदी जी 🙏
[03/07, 14:46] +91 91100 47827: ज्योति दी ने कहा था रीता दी की कविताएं आपको देने
[03/07, 14:46] +91 91100 47827: 🙌🏻😊
[03/07, 14:46] Roshan Kumar Jha, रोशन: जी 🙏 भेजिएगा
[03/07, 14:47] +91 91100 47827: कैसे करना है काम...जब तक दीदी शादी में व्यस्त हैं क्यो न पुस्तक तैयार कर ली जाए
[03/07, 14:47] +91 91100 47827: परिचय चाहिए केवल
[03/07, 14:48] Roshan Kumar Jha, रोशन: जी 🙏 दीदी अभी ज्योति दीदी से ही बात कर रहे थे ।
[03/07, 14:48] Roshan Kumar Jha, रोशन: अभी तक परिचय नहीं प्राप्त हुई है क्या दीदी जी
[03/07, 14:48] +91 91100 47827: मैं तो अभी अभी फ्री हुई हूं... आज तीन तीन क्लासेज थीं बेटी की
[03/07, 14:49] +91 91100 47827: कुछ ही लोगों का शेष है बस
[03/07, 14:58] +91 91100 47827: ये रीता दी की दसों कविताएं हैं
[03/07, 15:02] Roshan Kumar Jha, रोशन: जी 🙏
[03/07, 15:53] Roshan Kumar Jha, रोशन: जी 🙏 दीदी
[03/07, 16:58] +91 91100 47827: भाई अपना परिचय भी दे दें लिखकर
[03/07, 17:35] Roshan Kumar Jha, रोशन: जी 🙏 दीदी
[03/07, 17:41] Roshan Kumar Jha, रोशन: जीवन परिचय

नाम - रोशन कुमार झा
मो - 6290640716
पिता :- श्री श्रीष्टु झा
ग्राम :- झोंझी , परौल , अरेर , मधुबनी बिहार
जन्मतिथि :- 13/06/1999

कलकत्ता विश्वविद्यालय , सुरेन्द्रनाथ इवनिंग कॉलेज ,कोलकाता से तृतीय वर्ष हिन्दी आनर्स, 
31 वीं बंगाल बटालियन एनसीसी , फोर्ट विलियम कोलकाता-बी , पश्चिम बंगाल और सिक्किम निदेशालय, पंजीकृत संख्या :- WB17SDA112047
कम्पनी :- पांचवीं , नरसिंहा दत्त कॉलेज , हावड़ा सेंट जॉन एम्बुलेंस , भारत स्काउट एवं गाइड , पूर्व रेलवे स्टेट हावड़ा डिस्ट्रीक बामनगाछी ग्रुप , ललित नारायण मिथिला विश्वविद्यालय दरभंगा , रामकृष्ण महाविद्यालय मधुबनी राष्ट्रीय सेवा योजना स्वंयसेवक
, विगत कुछ वर्षों से नि: शुल्क में शिक्षा प्रदान कर रहे है । साहित्य एक नज़र दैनिक पत्रिका कोलकाता, विश्‍व साहित्य संस्थान / মিথি LITERATURE , मिथि लिट्रेचर, मधुबनी इकाई
[03/07, 18:25] Roshan Kumar Jha, रोशन: जी 🙏 धन्यवाद दीदी जी 🙏

[03/07, 14:35] प्रमोद ठाकुर: और क्या हाल है आपका
[03/07, 14:43] Roshan Kumar Jha, रोशन: ठीक है 🙏 अपना बताइए 🙏💐
[03/07, 14:47] प्रमोद ठाकुर: बस मैं भी ठीक हूँ
[03/07, 14:49] प्रमोद ठाकुर: आपकी दुआएँ है फेसबुक पर 478 का ग्रुप हो गया है 11 तारीख तक 1000 तक पहुँचना चाहिये
[03/07, 14:49] प्रमोद ठाकुर: कोशिश तो कर रहा हूँ
[03/07, 15:02] Roshan Kumar Jha, रोशन: जी 🙏💐
[03/07, 15:02] Roshan Kumar Jha, रोशन: हार्दिक शुभकामनाएं










अंक - 54
https://online.fliphtml5.com/axiwx/jkqf/
अंक - 53
https://online.fliphtml5.com/axiwx/usjk/

अंक - 52
https://online.fliphtml5.com/axiwx/ucgf/

विश्‍व साहित्य संस्थान वाणी
( साप्ताहिक पत्रिका, अंक - 2 )
https://online.fliphtml5.com/axiwx/uuxw/

अंक - 51
https://online.fliphtml5.com/axiwx/ruci/

अंक - 50
https://online.fliphtml5.com/axiwx/crej/

मधुबनी - 1
https://online.fliphtml5.com/axiwx/ncvw/

https://www.facebook.com/groups/310633540739702/permalink/320129459790110/?sfnsn=wiwspmo

https://online.fliphtml5.com/axiwx/zpvc/
अंक - 49
https://online.fliphtml5.com/axiwx/phxo/


जय माँ सरस्वती

साहित्य एक नज़र 🌅
कोलकाता से प्रकाशित होने वाली दैनिक पत्रिका
अंक - 54
3 जुलाई  2021
शनिवार
आषाढ़ कृष्ण 9 संवत 2078
पृष्ठ -  1
प्रमाण पत्र - 9 - 10
कुल पृष्ठ - 11

रोशन कुमार झा
संस्थापक / संपादक

मो - 6290640716

🏆 🌅 साहित्य एक नज़र रत्न 🌅 🏆
110. आ. राजीव भारती जी
पटना बिहार गृह नगर
111. आ. अशोक शर्मा जी, कुशीनगर ,उ.प्र

सम्मान पत्र - 1 - 80
https://www.facebook.com/groups/287638899665560/permalink/295588932203890/?sfnsn=wiwspmo

सम्मान पत्र - 79 -
https://m.facebook.com/groups/287638899665560/permalink/308994277530022/?sfnsn=wiwspmo

अंक - 54 से 58 तक के लिए इस लिंक पर जाकर सिर्फ एक ही रचना भेजें -
https://www.facebook.com/groups/287638899665560/permalink/320528306376619/?sfnsn=wiwspmo

अंक - 49 से 53
https://m.facebook.com/groups/287638899665560/permalink/317105156718934/?sfnsn=wiwspmo

अंक - 45 - 48
https://m.facebook.com/groups/287638899665560/permalink/314455886983861/?sfnsn=wiwspmo

मधुबनी इकाई अंक - 2
https://www.facebook.com/groups/310633540739702/permalink/320660943070295/?sfnsn=wiwspmo

विश्‍व साहित्य संस्थान वाणी , अंक - 3 के लिए रचना यहां भेजिए -
https://m.facebook.com/groups/1082581332150453/permalink/1114746008933985/?sfnsn=wiwspmo

विश्‍व साहित्य संस्थान वाणी - 1

https://www.facebook.com/groups/978836735882669/permalink/1251279588638381/

विश्व साहित्य संस्थान वाणी
अंक - 2  -
https://www.facebook.com/groups/1082581332150453/permalink/1110843755990877/

https://www.facebook.com/groups/1082581332150453/permalink/1113416175733635/?sfnsn=wiwspmo

माँ सरस्वती 🙏 साहित्य एक नज़र 🌅 को नमन करते हुए आप सभी सम्मानित साहित्य प्रेमियों को सादर प्रणाम 🙏 , साहित्य एक नज़र 🌅 के यूट्यूब चैनल पर आप अपनी काव्य पाठ करते हुए का  वीडियो बनाकर अपलोड करा सकते है - अपलोड करने के लिए आपको अंक वाली पोस्टर के कॉमेंट्स बॉक्स में भेजने के साथ साथ 6290640716 ( वॉट्सएप ) पर भेजना है ।

भजन का प्रतीक चित्र नृत्य- संगीत - "नारदी" संगीत
भवदीय आ. अजय कुमार झा जी
https://youtu.be/QRbKpOsN70g

https://www.facebook.com/groups/287638899665560/permalink/320947743001342/?sfnsn=wiwspmo

धन्यवाद सह सादर आभार

आपका अपना
रोशन कुमार झा
शनिवार, अंक - 54
03/07/2021

फेसबुक - 1

https://www.facebook.com/groups/1113114372535449/permalink/1146700469176839/

https://www.facebook.com/groups/1113114372535449/permalink/1146690872511132/

फेसबुक - 2

https://www.facebook.com/groups/1113114372535449/permalink/1146690872511132/

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https://www.facebook.com/groups/287638899665560/permalink/321096769653106/?sfnsn=wiwspmo

साहित्य एक नज़र
https://youtube.com/shorts/SZqpF67YrnA?feature=share

https://youtu.be/K17jcEVWE30

-----------------


साहित्य संगम संस्थान

https://youtu.be/yctgyaBHGyU

https://youtu.be/eKXALjmExDc

रोशन कुमार झा
https://youtu.be/GCdTyK_PQJo

आपका अपना
रोशन कुमार झा
संस्थापक / संपादक
मो :- 6290640716
अंक - 54 , शुक्रवार
03/07/2021

साहित्य एक नज़र  🌅 , अंक - 54
Sahitya Ek Nazar
03 July ,  2021 , Saturday
Kolkata , India
সাহিত্য এক নজর
মিথি LITERATURE , मिथि लिट्रेचर / विश्‍व साहित्य संस्थान वाणी

_________________

रोशन कुमार झा
मो :- 6290640716
संस्थापक / संपादक
साहित्य एक नज़र  🌅 ,
Sahitya Ek Nazar , Kolkata , India
সাহিত্য এক নজর
মিথি LITERATURE , मिथि लिट्रेचर / विश्‍व साहित्य संस्थान वाणी

आ. ज्योति झा जी
     संपादिका
साहित्य एक नज़र 🌅 मधुबनी इकाई
মিথি LITERATURE , मिथि लिट्रेचर
साप्ताहिक - मासिक पत्रिका



आ. डॉ . पल्लवी कुमारी "पाम "  जी
          संपादिका
विश्‍व साहित्य संस्थान वाणी
( साप्ताहिक पत्रिका )
साहित्य एक नज़र 🌅
कोलकाता से प्रकाशित होने
वाली दैनिक पत्रिका का इकाई


भजन का प्रतीक चित्र नृत्य- संगीत - "नारदी" संगीत
भवदीय आ. अजय कुमार झा जी

साहित्य एक नजर 🌅
अंक - 54 से 58
विषय- सांस्कृतिक आलेख.
दिनांक- 3/7/2021.
             *       
मिथिलांचल(मुरादपुर) का "नारदी" संगीत :: भारतीय संस्कृति का धरोहर. उमेश झा एवं यशोधरठाकुर श्रुत संस्मरण एवं अन्वेषण आधारित.

अनुभव, श्रुति और परम्परागत लोक संस्कृति की भावाभिव्यक्ति शैली में मुरादपुर का नारदी भजन मानव मन की अन्तर्मुखी प्रवृत्ति - मूलक प्रेरणाओं के नाद का संगीत है.छ: राग और छत्तीस रागनियों की परंपराओं,संस्कृतियों और संस्कारों की कड़ी में अन्यत्र दुर्लभ यह ऐतिहासिकता में एक और छंद जोड़ता है.इस विधा की उपस्थापना नारायण दत्त झा ने कृष्ण मंदिर स्थापना काल 1821 से पूर्व में की थी. इस गायन के गायकों में  इनके पौत्र रामकृष्ण झा 51 सदस्यीय ग्रामीण मंडली के प्रमुख माने जाते हैं. बलदेव झा     नारदी भजन के सर्वश्रेष्ठ रचियता और गायक हुए.आज जिनके पौत्र ललित कुमार झा सर्व श्री गुलाब ठाकुर,मोहर ठाकुर, विजय ठाकुर, दिवाकर ठाकुर, ललन ठाकुर, साजो,कारी दास प्रभृत सभी वर्ग एवं वर्ण के अनेक ग्रामीण पीढ़ियां इस परम्परा में अपना योगदान दे रहे हैं. इसमें भोला ठाकुर के सभी भाइयों का विशिष्ट योगदान रहा है. यह 'नारदी' भजन शास्त्रीय विधा में भारतीय संगीत एवं कर्नाटक संगीत का अनूठा संगम है. इसमें नाद, स्वर और ताल मुखमुद्राओं, अंगहारों, शारीरिक हलचलों के माध्यम से अनेक रूप और भाव उभरते हैं.नाट्यशास्त्रीय दृष्टि से यह चक्रनृत्यऔर गोलनृत्य संयोजित अद्भुत शैली नृत्य लक्षण में अपूर्व समष्टि का बोध करवाने में सक्षम है.कथ्य के अनुपम अक्षरदेह आवेष्टित गीत-संगीत से श्रृंगारित पद्यावली केरल के सोपान संगीतम राग की शैली में अवरोह और आरोह के समान कुछ ‘स्वरों’ को स्थाई के रूप में स्वीकार करते हुए और अन्य से पूरी तरह से बचते हुए, संगीत का आरंभ विलम्बितकाल से होता है और धीरे-धीरे इसकी रफ़्तार बढ़ती जाती है और शिखर पर पहुंचने के बाद यह धीमी हो जाती है.तीन ध्वनियों- अब, उ, म् से उत्पन्न एक नाद ऊं का विशिष्ट 'योग' नृत्य - संगीत को वैदिक साहित्य के समकक्ष शीर्षस्थ आसन प्राप्त है. विद्वानों ने ऐसे लोकसाहित्य को "अपौरुषेय" की संज्ञा दी है. जनभाषा में वर्ण्य- वस्तु लोक- जीवन में गृहीत चरित्रों, भावों और प्रभावों को समेटे है. अभिव्यक्ति को अभिव्यज्य से जोड़ता रस प्रधान प्रमुख शिल्प- विधा निरभिमान, निर्व्याज और निसर्गोद्भूत हो,अपने उत्कर्ष पर है. इसमें नाद के चार भागों परा, पश्यन्ती, मध्यमा और वैखरी में से मध्यमा को स्वर का आधार माना गया है. यह विरल विधा सम्पूर्ण राष्ट्र के लिए अनूठा और अद्भुत धरोहर है.

  लेखक -- ✍️ अजय कुमार झा.
पी एच डी (भौतिक शास्त्र) स्नातकोत्तर ( विधि शास्त्र), डिपलोमा डिग्री (रसियन भाषा एवं मास कम्युनिकेशन).
मुरादपुर, सहरसा (बिहार).

महोदय,
साग्रह निवेदन है कि यदि मेरे आलेख में नारदी भजन का प्रतीक चित्र यह नृत्य- संगीत समायोजित करना संभव हो तो इसका आभारी रहूंगा.
भवदीय,
अजय कुमार झा.

नमस्ते श्रीमन्,     अनुरोध के सकारात्मक प्रत्युत्तर हेतु आत्मिक आभार आपका.  भवदीय,                                   अजय कुमार झा

साहित्य एक नज़र 🌅
अंक - 54
http://vishnews2.blogspot.com/2021/07/54-03072021.html

नई उमंग - साहित्य संगम संस्थान
https://online.fliphtml5.com/axiwx/srng/

https://www.facebook.com/groups/365510634417195/permalink/600378914263698/?sfnsn=wiwspmo

कविता :- 20(46) , शनिवार , 03/07/2021 , अंक - 54

http://roshanjha9997.blogspot.com/2021/07/2046-03072021-54.html


अंक - 55
http://vishnews2.blogspot.com/2021/07/55-04072021.html

कविता :- 20(47) ,
http://roshanjha9997.blogspot.com/2021/07/2047-04072021-55.html

अंक - 56
http://vishnews2.blogspot.com/2021/07/56-05072021.html

कविता :- 20(48)

http://roshanjha9997.blogspot.com/2021/07/2048-05072021-56.html

अंक - 57
http://vishnews2.blogspot.com/2021/07/57-06072021.html

कविता :- 20(49)
http://roshanjha9997.blogspot.com/2021/07/2049-06072021-57.html

अंक - 58
http://vishnews2.blogspot.com/2021/07/58-06072021.html

कविता :- 20(50)
http://roshanjha9997.blogspot.com/2021/07/2050-07072021-58.html

अंक - 53
http://vishnews2.blogspot.com/2021/06/53-02072021.html

कविता :- 20(45)
http://roshanjha9997.blogspot.com/2021/06/2045-53-02072021.html

मिथिलाक्षर साक्षरता अभियान, भाग - 1
http://vishnews2.blogspot.com/2021/04/blog-post_95.html
मिथिलाक्षर साक्षरता अभियान, भाग - 2

http://vishnews2.blogspot.com/2021/05/2.html

मिथिलाक्षर साक्षरता अभियान, भाग - 3

http://vishnews2.blogspot.com/2021/05/3-2000-18052021-8.html

मिथिलाक्षर साक्षरता अभियान, भाग - 4
http://vishnews2.blogspot.com/2021/07/4-03072021-54-2046.html






विषय- "सफेद लिबास पहना है खुदा ने"
दिनांक- १/७/२०२१
विधा-

कविता
" सफेद लिबास पहना है खुदा ने "

डॉक्टर इस धरा पर,
साक्षात भगवान है,
मरते को जीवन देना
,उनका नेक काम है।
हमारे लिए तो वो सदैव,
पूजनीय होते हैं,
उनका स्वरूप धरा पर
,भगवान का दूसरा रूप है।
जैसे जीवन -मृत्यु ,भगवान
के हाथों में है,
वैसे ही हमें रोग मुक्त करना,
डॉक्टर्स के हाथों में हैं।
डाक्टर रात दिन अपनी,
सेवा हमें देते हैं,
हम-सब उनके उपकारों, को
कभी नहीं भूल सकते हैं।
कोरोना महामारी में तो ,डॉक्टर ने
भगवान की भूमिका निभाई है,
अपनी सेवा भाव से ,उन्होंने
लाखों की जान बचाई है।
अपनी सुखचैन को छोड़,
रात दिन सेवा में लगाया है,
यूं लगता है,'सफेद लिबास पहना
है खुदा ने",चला आया है।
डॉक्टर्स के इस सेवा भाव को ,
हम शत- शत नमन करते हैं,
सफेद लिबास में खड़े,धरा के
साक्षात प्रभु के दर्शन हम करते हैं।

✍️ रंजना बिनानी "काव्या"
गोलाघाट असम

" माँ "

माँ तेरे लिए  मैं 
शब्दों के फूल लायी हूँ ,
ला तेरे बालों में लगा दूँ ।
जैसे फूलों की माला
करता कोई अपने इष्ट को अर्पण,
वैसे ही शब्दावलि से अपने,,,
तेरी तस्वीर सजा दूं।
नहीं कह सकी , जब तू मेरे पास रही ।
करती रही मन से ही प्रेम तुझको;
शब्दों में नहीं ढाल पाई।
तू मेरे लिए बहती धार थी,
जीवन मरू में सरसब्ज थी।
मैं उसमें ही बहाती रही ,,,
अपने जीवन के कटु क्षण;
अपनी आकांक्षा,
अपनी व्याकुलता,
तेरे होने से जैसे , मुझमें भर जाती थी।
अनन्त ऊर्जा, मेरे अन्तस में;
असीमित साहस।
मैं सबल थी , जब तू मेरे पास थी।
पर तुझसे मांगती थी तेरा बङप्पन।
तू सो गई है चिर निद्रा में;
बाट जोह रही मैं तेरे
जागने की प्रतिक्षा में।
आ तुझसे प्रीत बांट लूँ ,
तुझे खुद में ही ढूंढ लूं।
माँ तेरे लिए  मैं शब्दों के फूल लायी
ला इससे सुन्दर गजरा बना दूँ ।
तेरे हंसते चेहरे की नूर बढा दूँ।
तेरी एक सुन्दर तस्वीर बना दूँ। ।
मां तेरे लिए शब्दों के फूल लायी हूँ ,
आज इससे तेरी तस्वीर सजा दूँ।

   ✍️ डॉ. पल्लवी कुमारी " पाम "

स्वामी विवेकानन्द जी
12 जनवरी 1863 - 4 जुलाई 1902

* राष्ट्र के गौरव स्वामी विवेकानन्द *

भारत की पावन माटी में, हुए अनेकों संत। एक उन्हीं में उज्ज्वल तारा, हुए विवेकानन्द।। भारत के महान दार्शनिक, धर्मयोद्धा, राष्ट्र के गौरव, युवाओं के प्रेरणास्त्रोत स्वामी विवेकानन्द का नाम अग्रणीय है। स्वामी जी का जन्म 12 जनवरी, 1863 को कलकत्ता के एक सम्पन्न परिवार में हुआ था। वे बहुत कुशाग्र बुद्धि के थे। स्वामी जी ने शास्त्रों का अध्ययन किया तथा पाश्चात्य विचारों से भी अपना परिचय बढ़ाया। ईश्वर के प्रति स्वामी जी के मन में अनुराग बढ़ता गया। 1881 ई० में स्वामी जी की भेंट स्वामी रामकृष्ण परमहंस से हुई। इस भेंट के परिणामस्वरूप स्वामी जी के जीवन में क्रांतिकारी बदलाव आया। उन्होंने सम्पूर्ण देश की यात्रा की एवं देखा कि देश गरीबी, निर्धनता, दरिद्रता जैसी बुराइयों की जकड़ में है। उन्होंने देखा कि आध्यात्मिक प्रगति तब तक संभव नहीं है, जब तक भौतिक स्तर की कमजोरियाँ दूर न हो जायें। परिणामस्वरूप इस दिशा में कार्य किया। स्वामी जी को मात्र भारत का महान दार्शनिक कहना काफ़ी नही है, अपितु उनकी बहुआयामी प्रतिभा के आधार पर वे धर्मगुरु थे और एक समाज-सुधारक संस्था भी। स्वामी जी के प्रशंसनीय कार्य तथा प्रासंगिक विचार स्वामी जी को महानता की एक उच्च शिखर तक ले जाते हैं। स्वामी जी की ख्याति विश्‍व प्रसिद्ध है। 1893 ई० में स्वामी जी ने शिकागो सम्मेलन में भाग लेकर भारतीय अध्यात्म और संस्कृति को गौरवपूर्ण सम्मान दिलाया। स्वामी जी की इस अद्भुत अलौकिक विचारों से सम्पूर्ण विश्व में उनकी अमृतमयी कण्ठ से मधुर एवं सर्वप्रिय विचार की अलौकिक छाप प्रस्फुटित हुई और सम्पूर्ण मानव जगत के लिये पूज्य बन गए। स्वामी जी ने प्राच्य तथा पाश्चात्य, नदी के कभी न मिलने वाले दो किनारों को परस्पर मिलाने के लिये एक सेतु का काम किया।
स्वामी जी का निधन 39 वर्ष की अल्पायु में 4 जुलाई 1902 को पश्चिम बंगाल के बेलूर मठ में ध्यान-मुद्रा के दौरान हो गया था। पूरी दुनिया वेदान्त के विख्यात और प्रभावशाली आध्यात्मिक गुरू स्वामी विवेकानन्द को उनकी पुण्यतिथि पर उन्हें श्रद्धांजलि दे रही है।

✍️ देश दीपक
ईश्वरपुर साई हरदोई उत्तर प्रदेश

बचपन

बचपन होता है कितना मासूम,
छल - प्रपंच से एकदम अंजान।
जाति- पाति का भेद नहीं जाने,
मुखमंडल पर प्रतिपल मुस्कान।।
कभी रूठना और कभी मनाना,
झगड़ों का ख़ुद करते समाधान।
मिल जुलकर रहते हैं आपस में,
नहीं बघारते हैं कभी झूठी शान।।
मस्त मलंग सदृश उनका जीवन,
कटुता का अल्प मात्र नहीं भान।
फ़िक्र नहीं करते धूप बारिश की,
नहीं तनिक मन में हो अभिमान।।
जीवन हो कतिपय ही आनंदित,
सुख - दुःख का नहीं कोई ज्ञान।
हर्षित रहता सर्वदा ही तन-मन,
मोह-माया भी नहीं करें परेशान।।
नहीं घमंड अथवा लोभ मन में,
एक दूजे के प्रति मान -सम्मान।
रहें विरक्त संसार के उलझन से,
ऊंच नीच न कर पायें व्यवधान।।

✍️ राजीव भारती
पटना बिहार गृह नगर

जीवन में धैर्य जरूरी है

मानव जीवन मिला भाग्य से ,
अब क्रोध अगन हटाना है।
काँटो पर चल मिलती मंजिल,
बस धैर्य को अपनाना है।
एक एक पग चल करके,
मिलों का सफर कटाना है।
चींटी जैसे धैर्य रखकर,
भारी भरकम बोझ उठाना है।
सारी विपदाएं टल जाती,
जब हो मन में धैर्य अपार।
बंजर को भी जोते धैर्य से,
तो हो हरियाली अपरम्पार।
जब सब अपने साथ छोड़ दें,
दिखे ना कोई जब तुम्हारा,
एक धैर्य अगर साथ रहेगा,
देगा जीवन भर सहारा।
घबराने से होता है क्या,
मुश्किलें और बढ़ जाती हैं।
धैर्य रख , धराने से धैर्य,
महामारी भी मुँह छिपाती है।

✍️ अशोक शर्मा, कुशीनगर ,उ.प्र

वर्षा गीत

दे माई,  दे री, दे री जौ।
तेरे  द्वार पड़ेगी रौ।।
ताल तलैया सूखे सारे,
पीने का पानी भी कम।
सूखा न सह पाए मानुष,
रोज किसी से बिछुड़े हम।।
जैसी विपदा आज पड़ी है
ऐसा हाल कभी न हो।
दे माई, ..
धरती मैया प्यासी इतनी,
उसके तन पड़ गयीं दरारें।
प्यासा तन मन,प्यासा जीवन,
बदरा, बरसों यही पुकारे।।
करो हमारे संग प्रार्थना,
अब तो जमकर बारिश हो।
दे माई,...
मुंह पर स्याही,पोत के बच्चे
मांग रहे घर घर से भीख।
बदरा को मुंह चिढ़ा रहे हैं,
देना तू इन, मां से सीख।।
बरसा दे पानी ओ बदरा,
धरती के कण कण को धो।
दे माई, ...
दे दे माई राम नाम पे,
खुश होंगे भगवन अपने।
जल बरसेगा,फसल उगेगी,
होंगे पूरे सबके सपने।।
दादी बन पोतों संग खेलों,
अक्कड़ बक्कड़ बंबे बौं।
दे  माई,  दे री, दे री जौ।
तेरे  द्वार पड़ेगी रौ।।

✍️ डॉ.अनिल शर्मा 'अनिल'
धामपुर , उत्तर प्रदेश
             

शुभ जन्मदिन , Happy Birthday , শুভ জন্মদিন

🎁🎈🍰🎂🎉 💐🙏

साहित्यकार मित्र डॉ प्रमोद कुमार 'प्रेम' जी को जन्मदिन पर अनेकानेक बधाईयां एवं शुभकामनाएं
जन्मदिन शुभमस्तु
जन्मदिवस शुभकामना
करो मित्र स्वीकार।
जीवन पथ हो सुगम
कृपा रखें करतार।।
हार्दिक शुभकामनाएं और बधाई।

✍️ डॉ.अनिल शर्मा 'अनिल'

शुभ जन्मदिन , Happy Birthday , শুভ জন্মদিন

🎁🎈🍰🎂🎉 💐🙏

भारत के प्रथम मतदाता आ. श्याम शरण नेगी जी को जन्मदिन की हार्दिक शुभकामनाएं सह बधाई 🙏💐

104 वें जन्मोत्सव - 1 जुलाई 2021 को
✍️  सपना  'नम्रता'
साहित्य एक नज़र 🌅

श्याम शरण नेगी

देव भूमि के  राजदुलारे
किन्नौरी जीवन  के प्रेरणा स्त्रोत
युवाओं के मार्गदर्शक
शान-ए-किन्नौर से सम्बोधित
जानता जिन्हें जग सारा
श्याम शरण नेगी नाम है प्यारा
प्यार से युवा किन्नौर के
दादा कहकर उन्हें बुलाते....
आज़ाद भारत के प्रथम मतदाता
सुन किन्नौर का  सिर उठ जाता
परछम जग में फहलाता
मातृभूमि का ..
हुआ कुछ यूँ था
आजादी के बाद 1951 में
पाया अधिकार मतदान का सबने
होती यहाँ भारी बर्फ़बारी
किन्नौर वासी हुए आभारी
छह माह पहले हुआ
यहाँ चुनाव पहला
तब श्याम शरण नेगी ने
पहला वोट डाला
अध्यापक पद पर आसीन थे तब वे 
सबसे पहले पहुँच मतदान किया
फिर चुनाव ड्यूटी निभाने
का काम किया
  103 साल पार कर चुके
   फिर भी जज्बा न हुआ कम
  मतदान का वही जोश
है अब भी उतना ही दम
जन-जन को भी देते यही संदेश
करे अपने मत का उपयोग निस्सन्देह
चुने सही उम्मीदवार
ताकि हो सके किन्नौर का,
देश का सुधार
तेज़ हो विकास की रफ़्तार।

   ✍️  सपना  'नम्रता'

आ. सुधीर श्रीवास्तव जी

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वार्षिकोत्सव के प्रथम दिवस पर संस्थान की विशिष्ट पुस्तक "नई उमंग" का हुआ शानदार विमोचन

साहित्य संगम संस्थान नई दिल्ली की स्थापना दिवस के उपलक्ष्य में आयोजित दो जुलाई से चार दिवसीय वार्षिकोत्सव का शुभारंभ साहित्य संगम संस्थान के राष्ट्रीय उद्घोषक आदरणीय विनोद वर्मा दुर्गेश जी अध्यक्ष हरियाणा इकाई साहित्य संगम संस्थान के अथक परिश्रम द्वारा बहुत ही शानदार तरीके से संपन्न हुआ। इस अवसर पर देश की कई बड़ी हस्तियों ने गणमान्य अतिथि व निर्णायक की भूमिका निभाई , जिसके अंतर्गत मुख्य अतिथि के रूप में पूर्व सचिव विधान परिषद् उत्तर प्रदेश आ० अशोक चौधरी जी पूर्व जनपद न्यायाधीश महोदय जी, विशिष्ट अतिथि के रूप में आ० प्रशांत करण जी पूर्व आईपीएस अधिकारी महोदय की उपस्थिति ऐतिहासिक रही। उद्धाटन समारोह के इस प्रथम दिवस पर साहित्य संगम संस्थान नई दिल्ली के कुछ विशेष सम्माननीय संगम सारथियों के काव्य संग्रह "नई उमंग" पुस्तक का विमोचन मंचमणि डॉ श्रीनिवास शुक्ल सरस जी प्रतिष्ठित साहित्यकार सीधी के करकमलों होना बेहद ही खास रहा। आपको बताते हुए यह खुशी हो रही है कि साहित्य संगम संस्थान नई दिल्ली अपने किसी भी साहित्य साधक की साधना को खाली हाथ नहीं छोड़ती , जिसका उदाहरण यह पुस्तक "नई उमंग" साहित्य संगम संस्थान नई दिल्ली के अग्रणी साहित्य साधकों के काव्य संग्रह के रूप में आज साहित्य जगत के पुस्तकालय में शामिल हुई। यह पुस्तक अपने आपमें एक उत्कृष्ट पुस्तक है, जिसमें साहित्य संगम संस्थान नई दिल्ली के सक्रिय कार्यकर्ताओं की सक्रियता का चित्र साफ झलकता है। उम्मीद है यह पुस्तक साहित्यिक गतिविधियों में अपना पूर्ण योगदान देगी। पुस्तक विमोचन के पर "नई उमंग" पुस्तक जो केवल पुस्तक नहीं बल्कि साहित्य संगम संस्थान नई दिल्ली की एक सशक्त टीम है , को आस्ट्रेलिया से आ० छगनलाल मुथा जी, मलेशिया से आ० अर्चना श्रीवास्तव जी, दुबई से इंजीनियरिंग विनय गौतम विनम्र जी व अमेरिका से दोहाशाला अधीक्षिका आ० अनिता सुधीर आख्या जी आदि अति विशिष्ट साहित्यिक हस्तियों का आशीर्वचन प्राप्त हुआ।

✍️ कुमार रोहित रोज़ जी
कार्यकारी अध्यक्ष
साहित्य संगम संस्थान नई दिल्ली

नमन 🙏 :-  साहित्य एक नज़र 🌅
बारिश 🌧️🌦️☔

वारिश की महीना आया है ,
जहाँ देखों पानी ही पाया है ।
घर से निकलने का
मन नहीं करता है ,
वारिश की बूंद भी अभी
तो भारी पड़ता है ।‌।
कोरोना काल है कहाँ पहले
जैसा गाड़ी चलता है ,
न हुए बारिश न होंगे उपज
इसके अलावा कौन पेट भरता है ।।

✍️ रोशन कुमार झा
सुरेन्द्रनाथ इवनिंग कॉलेज,कोलकाता
ग्राम :- झोंझी , मधुबनी , बिहार,
मो :- 6290640716, कविता :- 20(46)
रामकृष्ण महाविद्यालय,
मधुबनी , बिहार
03/07/2021 , शनिवार
Roshan Kumar Jha , রোশন কুমার ঝা
साहित्य एक नज़र  🌅 , अंक - 54
Sahitya Ek Nazar
03 July 2021 ,  Saturday
Kolkata , India
সাহিত্য এক নজর
विश्‍व साहित्य संस्थान / साहित्य एक नज़र 🌅
মিথি LITERATURE , मिथि लिट्रेचर

" किस ग़ुरूर में हो "

टूटने के लिए वज़ह ज़माना ही नहीं होता,
कभी अपनों के मुहब्बत ही तोड़ जाते हैं।
ख़ुशहाल थी दुनियां जिसकी दुवाओं से,
वसीयत उन दुवाओं में ज़हर घोल जाते हैं।
पहले माँ की गोदी का झगड़ा होता था,
आज उसकी गोदी में आसुँ जगह बना जाते हैं।
दुनियाँ को जिनकी आँखों से देखा था,
आज उनकी आँखें तुम्हें चुभन दे जाती हैं।
वो गुस्सा जो तेरे भाई को मुस्कुराती थी,
आज उन गुस्सों से नफ़रत सीख गए हो।
कलाई पर बहन की राखी तुम्हें याद नहीं रहती,
किस ग़ुरूर में अपना जीवन ढाल आए हो।

   कीर्ति चौधरी
ज़मानियाँ ,गाज़ीपुर( उत्तर प्रदेश)

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जय माँ सरस्वती
साहित्य एक नज़र 🌅
कोलकाता से प्रकाशित होने वाली दैनिक पत्रिका का इकाई -
विश्‍व साहित्य संस्थान वाणी
( साप्ताहिक पत्रिका ) गुरुवार
अंक - 3
प्रकाशित होने की दिनांक :- 8 जुलाई 2021, गुरुवार
विषय :- बरसात 🌧️🌦️ ☔
विषय प्रदाता :- आ. आशीष कुमार झा जी
रचना भेजने की अंतिम तिथि - 06/07/2021
एक रचनाकार एक ही रचना भेजें ।
16 - 20 पंक्ति से अधिक रचनाएं व बिना मतलब के स्पेस ( अंतराल ) वाली रचनाओं को स्वीकृति नहीं किया जायेगा ।
शब्द सीमा - 300 - 350
किसी भी प्रकार की समस्या होने पर संपर्क करें -
6290640716

आपका अपना
रोशन कुमार झा
संस्थापक / संपादक
मो :- 6290640716
साहित्य एक नज़र  🌅 ,
Sahitya Ek Nazar, Kolkata , India
সাহিত্য এক নজর
মিথি LITERATURE , मिथि लिट्रेचर - मधुबनी इकाई / विश्‍व साहित्य संस्थान वाणी

आ. डॉ . पल्लवी कुमारी "पाम "  जी
          संपादिका
विश्‍व साहित्य संस्थान वाणी
( साप्ताहिक पत्रिका ) गुरुवार
साहित्य एक नज़र 🌅
कोलकाता से प्रकाशित होने
वाली दैनिक पत्रिका का इकाई

लिंक -
विश्‍व साहित्य संस्थान वाणी , अंक - 3 के लिए रचना यहां भेजिए -
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विश्‍व साहित्य संस्थान वाणी , अंक - 2

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মিথি LITERATURE , मिथि लिट्रेचर - मधुबनी इकाई

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साहित्य एक नज़र 🌅 अंक - 54 - 58
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साहित्य संगम संस्थान के स्वर्णिम पाँच वर्ष पूरे होने पर पश्चिम बंगाल इकाई की ओर से अलंकरण कर्ता आ. स्वाति जैसलमेरिया जी

साहित्य संगम संस्थान पश्चिम बंगाल इकाई


पश्चिम बंगाल इकाई

🙏🏻जय माँ शारदे 🙏🏻
🌺🌺🌺🌺🌺🌺🌺🌺
🌺अध्यक्ष महोदय एवं सभी पदाधिकारी गण और सभी साहित्यकारों को नमन करती हूं। 🙏
साहित्य संगम संस्थान के स्वर्णिम पाँच वर्ष पूरे होने पर आप सभी को हार्दिक बधाई एवं शुभकामनाएँ देती हूँ।
🌺🌺🌺🌺🌺🌺🌺🌺🌺🌺🌺
साहित्य संगम संस्थान पश्चिम बंगाल इकाई की ओर से अलंकरण प्रस्तुति

अलंकरण प्रभारी
स्वाति जैसलमेरिया

https://www.facebook.com/groups/1719257041584526/permalink/1961102960733265/?sfnsn=wiwspmo

https://youtu.be/yctgyaBHGyU

साहित्य संगम संस्थान पंचम वार्षिकोत्सव की पूर्व संध्या पर कुछ आवश्यक बातें राष्ट्रीय अध्यक्ष आ. राजवीर सिंह मंत्र जी 🙏
🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏





परिकल्पना दिवस को सजाने और संवारने के लिए बधाई व आभार व्यक्त करते हुए कार्यकारी अध्यक्ष आ. कुमार रोहित रोज़ जी
https://www.facebook.com/groups/365510634417195/permalink/600450334256556/?sfnsn=wiwspmo

https://youtu.be/tez5bpJBj-Y

राष्ट्रीय अध्यक्ष आ . राजवीर सिंह मंत्र जी की प्रस्तुति - साहित्य संगम संस्थान

https://www.facebook.com/groups/365510634417195/permalink/600404647594458/?sfnsn=wiwspmo

https://youtu.be/sIXoxfZQf3w

ऑस्ट्रेलिया से छगनलाल मुथा जी की प्रस्तुति - स्वर्णिम पाँच वर्ष पूरे होने पर
🙏


https://youtu.be/IdscG_QXuXs


https://www.facebook.com/groups/365510634417195/permalink/600389494262640/?sfnsn=wiwspmo

https://youtu.be/Gou1g0F8RO0

निवेदक,

कविराज तरुण
महासचिव
साहित्य संगम संस्थान
https://youtu.be/eKXALjmExDc
साहित्य संगम संस्थान नई दिल्ली
रा. पंजी . संख्या एस 1801/2017 ( नई दिल्ली )
साहित्य संगम संस्थान नई दिल्ली के गौरवशाली पांच वर्ष (5-07-2021)

उत्तमचंद जैन
हैदराबाद
उपाध्यक्ष तेलंगाना इकाई
९३४६२५५६९४

https://youtu.be/8b3vIvmfc5c

https://www.facebook.com/100012727929862/posts/1257255988041987/?sfnsn=wiwspmo




https://youtu.be/20RKbjrSORE

https://www.facebook.com/groups/sahityasangamsansthan/permalink/1411337279237337/?sfnsn=wiwspmo

साहित्य संगम संस्थान पश्चिम बंगाल इकाई
https://www.facebook.com/groups/1719257041584526/permalink/1955216687988559/?sfnsn=wiwspmo

https://www.facebook.com/100068603509879/videos/120933290203454/

https://youtu.be/74ZKEFsCThI

साहित्य संगम संस्थान

https://www.facebook.com/groups/sahityasangamsansthan/permalink/1414797745557957/?sfnsn=wiwspmo

#साहित्यसंगमसंस्थान
#विविधइकाइयां-समीक्षा

कोलफील्ड मिरर आसनसोल में प्रकाशित
10/05/2021 ,
https://blogger.googleusercontent.com/img/b/R29vZ2xl/AVvXsEiYw-O_wG7wu-K-nRxZJNqLTx2yup7Tnf7vncuuqA7xy3R4Tg2Ve3od6mVErPwDPwvmG41WI4y65Y4tXqeDGRIUftpcqMxp2xtiow4PWlcNnBzVvSfoW9W6lZ4KxXbYZP2YnW2wXZEofEQ/s2048/CFM+HINDI++++10.06.+2021+5.jpg

https://online.fliphtml5.com/axiwx/iqjc/

https://youtu.be/jmF43PF0wwU



https://coalfieldmirror.blogspot.com/2021/06/10-2021-coalfieldmirrorgmailcom.html?m=1


पश्चिम बंगाल

https://www.facebook.com/groups/1719257041584526/permalink/1939031646273730/?sfnsn=wiwspmo

मुख्य मंच :-
https://m.facebook.com/groups/sahityasangamsansthan/permalink/1399215700449495/?sfnsn=wiwspmo

पश्चिम बंगाल इकाई सम्मान पत्र
https://www.facebook.com/groups/1719257041584526/permalink/1959393240904237/?sfnsn=wiwspmo





पश्चिम बंगाल इकाई सम्मान पत्र
https://www.facebook.com/groups/1719257041584526/permalink/1939470836229811/?sfnsn=wiwspmo

अंक - 49 से 53
https://m.facebook.com/groups/287638899665560/permalink/317105156718934/?sfnsn=wiwspmo


https://youtu.be/-gxVYTWJQqU

http://sahityasangamwb.blogspot.com/2021/06/blog-post.html

https://youtu.be/zQNqhNv41kI

http://vishnews2.blogspot.com/2021/07/54-03072021.html

https://youtu.be/QclxUs5c7P0
राष्ट्रीय मीडिया प्रभारी आ. राजेश कुमार पुरोहित जी
- साहित्य संगम संस्थान नई दिल्ली

अंक - 54
https://online.fliphtml5.com/axiwx/jkqf/

https://youtu.be/nxQxDu0-514
दिनांक - 03/07/2021
दिवस -  शनिवार
#साहित्यसंगमसंस्थान
यूट्यूब संचालक

रोशन कुमार झा
साहित्य संगम संस्थान नई दिल्ली
साहित्य संगम संस्थान पश्चिम बंगाल इकाई




रोशन कुमार झा





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