कविता :- 14(89) :-15(99)

कविता  :- 14(89)   हिन्दी ✍️ रोशन कुमार झा 🇮🇳
English :-15(99)
कविता  :-    हिन्दी ✍️ रोशन कुमार झा 🇮🇳

-:  नव वर्ष हमारा पर्व नहीं   !:-

मैं रोशन मुझे अपने पर गर्व नहीं ,
मनाने की सब्र नहीं !
नव वर्ष पर मेरा कोई संदर्भ नहीं ,
क्योंकि ये अपना पर्व नहीं !!

चल रही है ठंडी-ठंडी है गर्म हवा नहीं ,
सूर्य बिना खिली हुई फूल सूर्यमुखी जवा नहीं !
मानव तो मानव जीव-जंतु भी दबे हैं , ठंड से
बचने के लिए कोई दवा नहीं ,
तब कैसे मनाऊं नव वर्ष, नया साल मनाने के लिए लगी
हुई कहीं सभा नहीं !!

पुरानी पत्ती ,अभी खिला सा वन नहीं ,
पौष माघ अभी बसंत और सावन नहीं !
आग नहीं तो बिस्तर, उसके बाहर मां बहन नहीं ,
क्यों मनाऊं, मनाने की मन नहीं ,
क्योंकि ये नव वर्ष अपना पावन नहीं !!

घर से निकलने वाली शाम नहीं ,
घर के अंदर कोई काम नहीं !
पेट के लिए निकलना ही होगा , ठंड से विश्राम नहीं ,
सच में नव वर्ष को मेरी ओर से प्रणाम नहीं !!

अभी जाने दो समय की गति ,
नव वर्ष मनाएंगे अभी नहीं , खिलने दो नव पत्ती !
आने दो बसंत , लेकर आ रही है मां सरस्वती ,
तब मनाएंगे नव वर्ष जलाकर दिया और मोमबत्ती !!

नव वर्ष मनाएंगे पहले चलें ,तो जाये ठंड की
पकवान चौखा लिट्टी !!
केक नहीं बनाएंगे जलेबी वह भी मीठी-मीठी ,
है अपना ये हिन्दुस्तान ,विद्यापति, कबीर,दिनकर की मिट्टी,
उस पर नव वर्ष मनाएंगे, अभी नहीं, आने दो अपना तिथि !!

अभी काफी ठंड है , ठंड की कोई दण्ड नहीं ,
पूजा पाठ करने के लिए कैसे नहाऊ ,गर्म जल की प्रबंध नहीं !
बढ़ते ही जाते ठंड, ठंड की गति मंद नहीं ,
कैसे मनाऊं नव वर्ष, नव वर्ष मनाने की कोई सुगंध नहीं !!

ठंड में यानि आज नहीं ,
कोयल की मीठी आवाज नहीं !
शीत के कारण समय कैसे बीती अंदाज नहीं ,
तब कैसे मनाऊं नव वर्ष,ये हमारा रीति रिवाज नहीं !!

कुहासा में नया साल मनाना ,अपनी कर्त्तव्य नहीं ,
वह भी अब नहीं !
नव वर्ष पर हमें गर्व नहीं ,
है अपना ये पर्व नहीं !!

                  🙏 धन्यवाद ! 💐🌹

® ✍️ रोशन कुमार झा 🇮🇳
सुरेन्द्रनाथ इवनिंग कॉलेज , कोलकाता 
08-01-2020 बुधवार 08:47
08-05-2020 शुक्रवार मो:-6290640716
[08/05, 17:27] R: नव वर्ष हमारा पर्व नहीं ! https://www.sahity.com/hindi-poems/%e0%a4%a8%e0%a4%b5-%e0%a4%b5%e0%a4%b0%e0%a5%8d%e0%a4%b7-%e0%a4%b9%e0%a4%ae%e0%a4%be%e0%a4%b0%e0%a4%be-%e0%a4%aa%e0%a4%b0%e0%a5%8d%e0%a4%b5-%e0%a4%a8%e0%a4%b9%e0%a5%80%e0%a4%82/
[08/05, 18:12] R: English Poem:- It is Lockdown https://www.sahity.com/language/english/english-poem-it-is-lockdown-2/
ये नव वर्ष हमे स्वीकार नहीं.....राष्ट्रकवि रामधारीसिंह दिनकर

ये नव वर्ष हमे स्वीकार नहीं
है अपना ये त्यौहार नहीं
है अपनी ये तो रीत नहीं
है अपना ये व्यवहार नहीं
धरा ठिठुरती है सर्दी से
आकाश में कोहरा गहरा है
बाग़ बाज़ारों की सरहद पर
सर्द हवा का पहरा है
सूना है प्रकृति का आँगन
कुछ रंग नहीं , उमंग नहीं
हर कोई है घर में दुबका हुआ
नव वर्ष का ये कोई ढंग नहीं
चंद मास अभी इंतज़ार करो
निज मन में तनिक विचार करो
नये साल नया कुछ हो तो सही
क्यों नक़ल में सारी अक्ल बही
उल्लास मंद है जन -मन का
आयी है अभी बहार नहीं
ये नव वर्ष हमे स्वीकार नहीं
है अपना ये त्यौहार नहीं
ये धुंध कुहासा छंटने दो
रातों का राज्य सिमटने दो
प्रकृति का रूप निखरने दो
फागुन का रंग बिखरने दो
प्रकृति दुल्हन का रूप धार
जब स्नेह – सुधा बरसायेगी
शस्य – श्यामला धरती माता
घर -घर खुशहाली लायेगी
तब चैत्र शुक्ल की प्रथम तिथि
नव वर्ष मनाया जायेगा
आर्यावर्त की पुण्य भूमि पर
जय गान सुनाया जायेगा
युक्ति – प्रमाण से स्वयंसिद्ध
नव वर्ष हमारा हो प्रसिद्ध
आर्यों की कीर्ति सदा -सदा
नव वर्ष चैत्र शुक्ल प्रतिपदा
अनमोल विरासत के धनिकों को
चाहिये कोई उधार नहीं
ये नव वर्ष हमे स्वीकार नहीं
है अपना ये त्यौहार नहीं
है अपनी ये तो रीत नहीं
है अपना ये त्यौहार नहीं  

-राष्ट्रकवि रामधारीसिंह दिनकर

Poem :- 15(99) English (Mob:-6290640716 )
✍️ ®••••• Roshan Kumar Jha 🇮🇳
19 th April 2020 Sunday  21:13

-: it is lockdown !:-

Village and town ,
Worldwide lockdown .

Corona is not getting down ,
So now home to staying own .

now humankind is at danger ,
is disturbed leader and passenger .

in india Aarogya setu app
is still messenger ,
we roshan say ..
in darkness will happen lightbringer

                                       Thank you 💐🌹🙏

✍️ ®••••• Roshan Kumar Jha 🇮🇳
Surendranath Evening College Kolkata

-: यह है लॉकडाउन !:-  कविता:-15(99)

गांव और शहर,.
दुनिया भर है लॉकडाउंन !

कोरोना कम नहीं हो रहा है,
इसलिए अपने लिए घर पर रहें !

अभी मानव जाति खतरा में है,
जिससे नेता और यात्री परेशान हैं !

अभी भारत के आरोग्य सेतु ऐप दूत हैं,
हम रोशन कह रहे हैं अंधकार में प्रकाश होगा !

•••  रोशन कुमार झा 🇮🇳 • , রোশন কুমার ঝা,
कविता  :-  16(25)  हिन्दी ✍️ रोशन कुमार झा

-:  बेटियाँ करूं तुम्हारी उपकार !:-

बेटियाँ करूं तुम्हारी उपकार ,
रचनाकारों के साथ मैं रोशन कुमार !
देखकर मां बहन को ,आई बेटियाँ पर विचार ,
कि कैसे करूं बेटियाँ की देखभाल !!

कोई सप्ताह ऐसा गुजरते नहीं , कि होते नहीं बलात्कार ,
और देख रहे हैं गूँगी सरकार !
इस संकट से जूझ रहा है संसार ,
बेटियों को बचाने के लिए आगे आओ यार !!

होगी लड़कियों की जीत, दुश्मनों का होगा हार ,
है हमें हर एक बेटियाँ की ख़्याल !
कैसे करूं , जैसे करूं , पर करूं बेटियाँ की देखभाल ,
यही हैं इस कविता में मेरी विचार !!

                  🙏 धन्यवाद ! 💐🌹

® ✍️ रोशन कुमार झा 🇮🇳
सुरेन्द्रनाथ इवनिंग कॉलेज , कोलकाता 
08-05-2020  शुक्रवार 11:20  मो:-6290640716
রোশন কুমার ঝা, Roshan Kumar Jha
आलेख :- 16(23)  हिन्दी ✍️ रोशन कुमार झा 🇮🇳
आलेख :- 1(03)

आलेख :- 16(23)  हिन्दी ✍️ रोशन कुमार झा 🇮🇳

-: देख लिए जी पुलिस के सहयोग   ! 

आज बुद्ध पूर्णिमा आज ही के दिन  गौतम बुद्ध का जन्म और महान कवि, नाटककार,राष्ट्रगान निर्माता गुरुदेव रवीन्द्रनाथ टैगोर का भी जन्म हुआ था, उन्हीं से जुड़ी हुई बात है,रवीन्द्र सेतु की,इस महामारी कोरोना में देख लिए पुलिस प्रशासन का सहयोग , कितना करता है सहायता , यह कोई कहानी नहीं, और नहीं सुनी हुई बात, यह हकीक़त है, बात कोलकाता की हावड़ा ब्रिज की है , कोलकाता न हावड़ा पुलिस की है ! बैंक के अधिकारी को जाने देते पर बैंक के ग्राहकों को नहीं, तो मेरा कहना है बंद करवा दो अभी बैंक, लेकिन कैसे करवायेंगे, अभी तो बिना खड़े हुए ही तो उनको बैंक से पैसा मिल जाते है, माना कि ऊपर डीएम,सीएम, पीएम से आदेश है ,पर व्यवस्था कहां है, अरे ! मैं जानता हूं कितना कठिन है ऑर्डर को पूरा करना, क्योंकि हम रोशन भी मान सम्मान जानते हैं वर्दी की. राष्ट्रीय कैडेट कोर, राष्ट्रीय सेवा योजना, भारत स्काउट गाइड, सेंट जांन एम्बूलेंस आदि से सेवा कर रहा हूं वर्दी में ही ! पर मैं पुलिस प्रशासन से कहना चाहता हूं कि आप जब पुलिस में भर्ती लेते हैं तो क्या आप गाली का ही प्रशिक्षण करवाते हैं, पता न उन मजदूर, गरीब पर क्या बीता होगा ,मारा भी ऊपर से बोकाछोदा जैसी बंगाली में गाली दिया रहा वह पुलिस.., और यही कारण है कि लोग कानून को हाथ में लेते हुए पुलिस पर टूट पड़ते हैं, और फिलहाल इसी हावड़ा के टिकियापाड़ा में हुआ भी रहा ,जो कि ऐसा नहीं होना चाहिए , कितना आदमी बर्दाश्त करेगा ! अब आप पूछोगे कि लॉकडाउन में आप कहां गए, जी हां क्या कहूं गैस सिलेंडर भरवाने के लिए एक दिन न पांच दिन गए, फिर भी असफल रहे ,तीन दिन में सिर्फ खाली सिलेंडर दे आये, देकर जब पुल पर आ रहे थे, तब पुलिस से हमको न पर साईकिल पर डंडा मार ही दिया ,चौथा और पांचवां दिन भरा सिलेंडर को लाने की कोशिश किये ,पर कुछ न हुआ, यहां तो पुलिस पैसों लेकर ब्रिज पार करवाते हैं, तब हम इन्हें न देकर सिलेंडर वाले को ही कुछ ज्यादा पैसा देना ही उचित माना , हम ब्रीज के पास इंतजार करते रहे तब बेचारा कंधा पर गैस वाला वर्दी में ही
लेकर सिलेंडर लाया, पसीना, पसीना हो गया रहा, वह भी कोई दूसरा रहता नहीं दे जाता, वह तो अपना बिहार अपना मधुबनी के रहें तो दे गये ! इस तरह हमारी समस्या का हल हुआ, पर उनका क्या जो बैंक जा रहें थे, जाने नहीं दिया और भी कई इस प्रकार की समस्या रहा, जाने वाले को तो बिना कुछ लिए जानें ही नहीं देते, और जो काम करके लौटते हैं,उनको भी डंडा मारते है , कोलकाता में कुछ कारवाई न पर यहां इतना, क्या देख लिया बंगाल पुलिस ने, क्या मोदी जी
यही आपका शासन है , और ममता दीदी आप बात ही हटाये, क्या यही गांधी जी के रामराज्य है, क्या भारत के धरती मां तुम्हारी यही सपना थी, अब समझ गये धन्य है तू कोरोना ,जो तू आया सब को ले जा , हमको भी, छोड़ मत किसी को,सबके सब पापी है, इन पापों से भारत मां को मुक्ति दिलवा, हे राम फिर आ और अपना रामराज्य बसाओ, रामराज्य की ही जरूरत है !  अब बात करते अगल हम उस स्थान पर होते, तो लोगों के दुख जरूर दूर करते,अगल नियम रहता ब्रिज कोई पार न करें तो हम करने भी नहीं देते, पर उन सभी के जरुरत पूरा करवाते , वहां दलाल पुलिस को नहीं,बल्कि राष्ट्रीय कैडेट कोर, राष्ट्रीय सेवा योजना, सेंट जांन एम्बूलेंस, भारत स्काउट गाइड जैसे निस्वार्थ भावना से काम करने वाले को रखते,
और सेवा करवाते, अगल भविष्य में कभी इस तरह की संकट आये, तो मैं यह कदम पार करके दिखाऊंगा !!

® ✍️ रोशन कुमार झा 🇮🇳
सुरेन्द्रनाथ इवनिंग कॉलेज ,कोलकाता 
07-05-2020 वृहस्पतिवार 14:19 (मो:-6290640716
রোশন কুমার ঝা, Roshan Kumar Jha
कविता  :-  16(15)
http://kavyaaprajita.in/काव्यांकुर/श्री-रोशन-कुमार-झा/
[08/05, 17:27] R: नव वर्ष हमारा पर्व नहीं ! https://www.sahity.com/hindi-poems/%e0%a4%a8%e0%a4%b5-%e0%a4%b5%e0%a4%b0%e0%a5%8d%e0%a4%b7-%e0%a4%b9%e0%a4%ae%e0%a4%be%e0%a4%b0%e0%a4%be-%e0%a4%aa%e0%a4%b0%e0%a5%8d%e0%a4%b5-%e0%a4%a8%e0%a4%b9%e0%a5%80%e0%a4%82/
[08/05, 18:12] R: English Poem:- It is Lockdown https://www.sahity.com/language/english/english-poem-it-is-lockdown-2/
https://surveyheart.com/form/5eb1b633c237d422b46affa2 :- 31st Ncc
[07/05, 19:26] R: http://roshanjha9997.blogspot.com/2020/05/blog-post_7.html
[08/05, 17:27] R: नव वर्ष हमारा पर्व नहीं ! https://www.sahity.com/hindi-poems/%e0%a4%a8%e0%a4%b5-%e0%a4%b5%e0%a4%b0%e0%a5%8d%e0%a4%b7-%e0%a4%b9%e0%a4%ae%e0%a4%be%e0%a4%b0%e0%a4%be-%e0%a4%aa%e0%a4%b0%e0%a5%8d%e0%a4%b5-%e0%a4%a8%e0%a4%b9%e0%a5%80%e0%a4%82/
[08/05, 18:12] R: English Poem:- It is Lockdown https://www.sahity.com/language/english/english-poem-it-is-lockdown-2/

http://roshanjha9997.blogspot.com/2020/05/1619.html
http://roshanjha9997.blogspot.com/2020/05/1618.html
R: वह तीन दोस्त  Teen dosto ki kahani  >> http://kalamlive.blogspot.com/2020/05/teen-dosto-ki-kahani.html
R: घर को बनायें प्राथमिक शिक्षा का केंद्र  ghar ko banaye prathmik shiksha ka kendr >> https://kalamlive.blogspot.com/2020/05/ghar-ko-banaye-prathmik-shiksha-ka-kendr.html
[ R: मत मनाएं अभी वर्षगांठ Abhi mat manao varshganth >> https://kalamlive.blogspot.com/2020/05/abhi-mat-manao-varshganth.html
R: रहें नहीं श्री नथुनी साह जी >> http://kalamlive.blogspot.com/2020/05/blog-post_5.html
http://roshanjha9997.blogspot.com/2020/05/1617.html


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